रक्षाबंधन आत्मीयता व सामाजिक संबंधों की प्रगाढ़ता पर्व

जाफ़र लोहानी

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मनोहरपुर (जयपुर)। भाई-बहन के असीम प्रेम एवं स्नेह को समर्पित "रक्षाबंधन" का पावन पर्व विधिवत रस्म ओ रिवाज के हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। शुभ मुहूर्त पर बहनों ने अपने भाइयों की कलाई पर राखी बांधी इस पर भाइयों ने भी अपनी बहन को उनकी मन पसंद का उपहार व नकद रुपए दिए।

इस पर्व पर बहनों ने अपने भाईयों को दिल से दुआएं देते हुए कहा कि आने वाला प्रत्येक नया दिन,आपके जीवन में अनेक सफलताएँ एवं खुशियाँ लेकर आये। ईश्वर आपको ऐश्वर्य, वैभव, कीर्ति, यश, उन्नति, प्रगति, उत्तम स्वास्थ्य और समृद्धि प्रदान करे। भाई बहन ने एक दूजे को शायराने अंदाज में मुबारकबाद पेश करते हुए कहा कि "चंदन का टीका रेशम का धागा, सावन की सुगंध बारिश की फुहार, भाई की उम्मीद बहन का प्यार, सबको मुबारक हो रक्षाबंधन का त्यौहार"।

इंद्र कुमार अग्रवाल ने भाई-बहन के पारस्परिक असीम स्नेह और विश्वास के प्रतीक "रक्षाबंधन" पर्व  के अवसर पर प्रदेशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं देते हुए कहा कि यह पर्व पारिवारिक मूल्यों, कर्तव्य, आत्मीयता व सामाजिक संबधों की प्रगाढ़ता के महत्त्व को रेखांकित करता है। अग्रवाल ने कहा कि "सारे जमाने मे सबसे जुडा,भाई बहन का प्यार होता हैं, गंगा की तरह पवन निर्मल रेशम के धागों में विश्वास होता हैं।

"खट्टी मीठी यादों का, स्नेह से किए वादों का, रक्षाबन्धन त्यौहार हैं प्यार के पावन धागों का"।  सभी भाई बहन ने अपने बचपन की यादों को याद करके माहौल को ख़ुशनुमा बना दिया। उल्लेखनीय हैं कि बुजुर्गो का मानना है कि लड़कियों को अपना पीहर जन्नत की तरह लगता हैं इसलिए लड़कियां अपने परिवार वालों से मिलने के लिए लालायित रहती हैं।