खेलें श्याम संग होली

लेखिका : ✍️ साधना सेठी

लेखिका और पत्रकार 


श्याम अब देर क्या है मेरा चोला रंग दे।

सारे रंग धो कर श्याम बस तू अपना रंग कर दे।


कितने रंगो से रंगा था इस जिंदगी को

पर वो सारे फीके निकले श्याम अब तू गाड़ा रंग कर दे।


तूने रंगा है श्याम प्रमियो को जिस रंग में

बस उसी रंग में अब मुझे पूरा रंग दे।


में तो मानुगी श्याम तुझे बड़ा रंगरेज

बस तेरे ही रंग में अब मुझे पूरा रंग दे।


श्याम है सबको अपने प्रेम में रंगने वाला 

श्याम सारे रंग हटा कर बस केवल अपने ही रंग में रंग ले

(लेखिका की अपनी अभिव्यक्ति है)