सचिन पायलट : फाइल फोटो
(डे लाइफ डेस्क)
जयपुर। राजस्थान में कोरोना वायरस संक्रमण के नए मामले आने थम नहीं रहे हैं। प्रदेश में पिछले 24 घंटों में संक्रमण के 48 नए मामले सामने आए हैं। प्रदेश में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की तादाद 10,385 तक पहुंच गई है। वहीं, इस बीमारी से अब तक 234 लोगों की मौत हो चुकी है। राजस्थान के उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने न्यूज़18 इंडिया से कहा की अभी तक अधिकांश संक्रमण शहरों तक सीमित रहे हैं और इसे गाँवों में फैलने से रोकना होगा।
गावों में अगर कोरोना वायरस फैल जाएगा तो ख़तरनाक स्थिति पैदा हो सकती है। इसलिए हर कीमत पर हमें इसे सीमित करना पड़ेगा। उसके लिए जो भी कदम आवश्यक होगा हम उठाएँगे।” उन्होने बताया कि उनकी सरकार हमेशा स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशा निर्देशों का पालन करती है लेकिन राज्य विशिष्ट राह से वो कामयाबी पा सकते हैं और यही सोच केंद्र सरकार को भी रखनी चाहिए।
धीरे-धीरे अर्थव्यवस्था वापिस से पटरी पर आ रही है लेकिन कोरोना वायरस के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। सचिन पायलट के अनुसार पूरे देश में लगे लॉकडाउन का सब काफ़ी हद तक लाभ ले चुके हैं और अब ज़रूरत है की दोबारा से आर्थिक गतिविधियों को चालू किया जाए क्योंकि लॉकडाउन की जो कीमत चुकानी पड़ रही है वो बहुत ज़्यादा है। हिन्दुस्तान और राजस्थान में भी जो हमारी मृत्यु दर है वो बहुत कम है इसीलिए एतिहाद बरतते हुए जो हमारे कंटेनमेंट ज़ोन है, रेड ज़ोन्स है और जहाँ कर्फ्यू लगा हुआ है वहाँ पर हमें बड़ी सतर्कता का पालन करना चाहिए। लेकिन जो बाकी इलाक़े हैं, वहाँ राज्य सरकारों को छूट मिलनी चाहिए कि वो आर्थिक गतिविधियों, फैक्ट्री, कारखाने दोबारा चालू करें क्योंकि लोगों की अर्थव्यवस्था को वापस लाने के लिए आज जो माँग है हमें वो नज़रअंदाज़ नहीं करना चाहिए। लेकिन एतिहाद बरतना पड़ेंगा क्योंकि जब तक इसका टीका या दवाई का अविष्कार नहीं होता तब तक हम अपने जीवन को आगे कैसे बढ़ाएँ इस पर मुझे लगता है की देश पेर मोटी-मोटी आम राए बन चुकी है।
राजस्थान वो प्रदेश है जो कोरोना के मामले में लगातार शीर्ष पाँच राज्यों में बना हुआ है। उप-मुख्यमंत्री के अनुसार अगर कोई राज्य सरकार टेस्ट करना ही बंद कर दे तो नये संक्रमण आएँगे ही नहीं सामने। हम लगातार टेस्ट कर रहे है। हमारा यही लक्ष्य है की हम 25000 टेस्ट प्रतिदिन करें। जहाँ हमारी क्षमता शून्य थी उसको हम 25,000 तक लेकर आ रहे है। ये एक बहुत बड़ा कदम है और हम ये जितना टेस्ट कर करके, आइसोलेट करके, ट्रीट करेंगे उतना ही हम इस बीमारी से कामयाबी पा सकते हैं क्योंकि लॉकडाउन से हम इलाज नहीं ढूँढ रहे हैं। हम सिर्फ़ पोस्टपोन कर रहे हैं। उन्होंने बताया की कोरोना से घबराने की ज़रूरत नहीं है। उनके अनुसार राजस्थान में रिकवरी रेट राष्ट्रीय औसत से कहीं बेहतर है और जो डबलिंग का टाइम है वो भी राष्ट्रीय औसत से कहीं बेहतर है। ये बात सच है की ये संक्रमण बढ़ रहा है, नंबर बढ़ रहे हैं लेकिन मोटे तौर पर स्थिति नियंत्रण में है।