पीएम मोदी बोले बिना भीलो के महाराणा के साथ भीलो का संघर्ष भुलाया नहीं जा सकता
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नई दिल्ली। बीते कुछ दिनों पहले कैबिनेट के फैसले के बाद 15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाया जा रहा है। जिसके चलते मध्य प्रदेश सरकार द्वारा आयोजित जनजातीय गौरव दिवस में पीएम नरेंद्र मोदी भी शामिल हुए और आदिवासियो के लिए कई योजनाओ का लोकार्पण भी किया। आयोजन में भाषण देते वक़्त उन्होंने आदिवासियों के लिए किये गए अपने कामों को गिनाया और इसके साथ ही अपने भाषण में उन्होंने मेवाड़ के महाराणा प्रताप को भी याद किया और उनके साथ भील आदिवासियों के संघर्ष के बारे में बताया। अपने भाषण में पीएम मोदी कहते है- कंधे से कंधा मिलाकर लड़ने वाले और कई बलिदान देने वाले वीर भीलों के बिना वीर महाराणा प्रताप के संघर्ष की कल्पना नहीं की जा सकती है।
राजस्थान में भी है कई जनजातियां
राजस्थान की अधिकांश आदिवासी जनजातियां अरावली के दक्षिणी भाग में घने जंगलो अथवा ऊँची पर्वत श्रृंखलाओं पर निवास करती है। 2011 की जनगणना के अनुसार राजस्थान की कुल जनसँख्या का 12.60 प्रतिशत अनुसूचित जनजाति है। तथा भारत के कुल आदिवासी का 7.87 प्रतिशत राजस्थान में निवास करती है। समय-समय पर अनुसूचित जनजातियों को विभिन्न विद्वान् विभिन्न नामों से सम्बोधित करते रहे हैं।