ग्रेसी सिंह और तन्वी डोगरा ने सबको ‘चैत्र नवरात्रि‘ की शुभकामनाएं दी

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मुम्बई। ‘चैत्र नवरात्रि‘ साल का सबसे पावन त्यौहार माना जाता है। नौ दिनों तक चलने वाले इस त्यौहार को पूरी दुनिया में हिन्दू धर्म के लोग पूरे जोश और भक्ति के साथ मनाते हैं। इसे हिन्दुओं का नववर्ष माना जाता है, और इस बार यह 13 अप्रैल को है। इस त्यौहार का आरंभ घटस्थापना के साथ किया जाता है जिसके बाद 9 दिनों का उपवास रखा जाता है। इस मौके पर एण्डटीवी के ‘संतोषी मां सुनाएं व्रत कथाएं‘ की ग्रेसी सिंह (संतोषी मां) और तन्वी डोगरा (स्वाति) ने शुभकामनाएं देते हुए ‘चैत्र नवरात्रि‘ व्रत के महत्व के बारे में बताया। ग्रेसी सिंह उर्फ संतोषी मां कहती हैं, ‘‘चैत्र नवरात्रि‘ के दौरान नौ दिनों तक मां दुर्गा की आराधना की जाती है। भक्तों का ऐसा मानना है कि मां दुर्गा मुख्य रूप से इन तीन अवतारों में समाहित है- दुर्गा, लक्ष्मी और सरस्वती। हर दिन मां दुर्गा के अलग-अलग रूपों के लिये होता है। 

भक्तों का ऐसा मानना है कि वह हमें आंतरिक शक्ति देती हैं। वह मोक्ष प्राप्ति और बेहतर भविष्य पाने में हमारी सहायता करती हैं। मैं सभी लोगों को ‘चैत्र नवरात्रि‘ की शुभकामनाएं देना चाहती हूं।’’ ‘चैत्र नवरात्रि‘ व्रत विधि के बारे में बताते हुए, तन्वी डोगरा उर्फ स्वति कहती हैं, ‘‘चूंकि, ‘चैत्र नवरात्रि‘ का हरेक दिन मां दुर्गा के अलग-अलग रूपों के लिये समर्पित है, इसलिये हर दिन की रस्में और पूजा विधि भी अलग-अलग होती है। जो भक्त ‘चैत्र नवरात्रि’ के पूरे दिन का व्रत रखते हैं, वह सिर्फ एक बार भोजन करते हैं सूर्यास्त के बाद। ‘चैत्र ग्रेसी सिंह और तन्वी डोगरा ने सबको ‘चैत्र नवरात्रि‘ की शुभकामनाएं दी

‘चैत्र नवरात्रि‘ साल का सबसे पावन त्यौहार माना जाता है। नौ दिनों तक चलने वाले इस त्यौहार को पूरी दुनिया में हिन्दू धर्म के लोग पूरे जोश और भक्ति के साथ मनाते हैं। इसे हिन्दुओं का नववर्ष माना जाता है, और इस बार यह 13 अप्रैल को है। इस त्यौहार का आरंभ घटस्थापना के साथ किया जाता है जिसके बाद 9 दिनों का उपवास रखा जाता है। इस मौके पर एण्डटीवी के ‘संतोषी मां सुनाएं व्रत कथाएं‘ की ग्रेसी सिंह (संतोषी मां) और तन्वी डोगरा (स्वाति) ने शुभकामनाएं देते हुए ‘चैत्र नवरात्रि‘ व्रत के महत्व के बारे में बताया। 

ग्रेसी सिंह उर्फ संतोषी मां कहती हैं, चैत्र नवरात्रि‘ के दौरान नौ दिनों तक मां दुर्गा की आराधना की जाती है। भक्तों का ऐसा मानना है कि मां दुर्गा मुख्य रूप से इन तीन अवतारों में समाहित है- दुर्गा, लक्ष्मी और सरस्वती। हर दिन मां दुर्गा के अलग-अलग रूपों के लिये होता है। भक्तों का ऐसा मानना है कि वह हमें आंतरिक शक्ति देती हैं। वह मोक्ष प्राप्ति और बेहतर भविष्य पाने में हमारी सहायता करती हैं। मैं सभी लोगों को ‘चैत्र नवरात्रि‘ की शुभकामनाएं देना चाहती हूं।

‘चैत्र नवरात्रि‘ व्रत विधि के बारे में बताते हुए, तन्वी डोगरा उर्फ स्वति कहती हैं, ‘‘चूंकि, ‘चैत्र नवरात्रि‘ का हरेक दिन मां दुर्गा के अलग-अलग रूपों के लिये समर्पित है, इसलिये हर दिन की रस्में और पूजा विधि भी अलग-अलग होती है। जो भक्त ‘चैत्र नवरात्रि’ के पूरे दिन का व्रत रखते हैं, वह सिर्फ एक बार भोजन करते हैं सूर्यास्त के बाद। ‘चैत्र नवरात्रि’ का नौवां दिन ‘रामनवमी‘ के रूप में मनाया जाता है। पुराणों के अनुसार भगवान राम का जन्म इसी दिन हुआ था। नवमी के मौके पर भक्त सिद्धिदात्री माता की पूजा करता है। उनका मानना है कि यह पूजा करने से सफलता, स्वास्थ्य और ख्याति मिलती है। इस पावन मौके पर मैं एण्डटीवी के ‘संतोषी मां सुनाएं व्रत कथाएं‘ की पूरी टीम की तरफ से सबको ‘चैत्र नत्ररात्रि‘ की शुभकामनाएं देती हूं!‘‘

नवरात्रि’ का नौवां दिन ‘रामनवमी‘ के रूप में मनाया जाता है। पुराणों के अनुसार भगवान राम का जन्म इसी दिन हुआ था। नवमी के मौके पर भक्त सिद्धिदात्री माता की पूजा करता है। उनका मानना है कि यह पूजा करने से सफलता, स्वास्थ्य और ख्याति मिलती है। इस पावन मौके पर मैं एण्डटीवी के ‘संतोषी मां सुनाएं व्रत कथाएं‘ की पूरी टीम की तरफ से सबको ‘चैत्र नत्ररात्रि‘ की शुभकामनाएं देती हूं!