पार्टी की जान हैं पार्टी के अदब



पार्टी में सभी निगाहें रहेंगी आप पर


पार्टी का नाम सुनते ही मन तरंगित होने लगता है। न जाने क्या-क्या अच्छी कल्पनाएँ आने लगती हैं। पार्टी में मिलना-जुलना, खाना-पीना, हँसी-मजाक वगैरह तो होते हैं पर इन सबसे अलहदा जो एक खास बात होती है वो यह है कि हम पार्टी में जाकर फिर से तरोताजा हो जाते हैं। ऐसा तरोताजा होना रोजमर्रा के कामों में संभव नहीं हो पाता। जब हम पार्टी से अपना मूड फ्रेश करके लौटते हैं तो अपने रूटीम काम ज्यादा रूचि लेकर सम्पन्न करते हैं। इसलिए जीवन में जीवन्तता बनाए रखने के लिए जरूरी है कि पार्टी-शार्टी और शोर-शराबा होता रहे। लेकिन किसी भी पार्टी के कुछ कायदे होते हैं। इन्हेें  पूरा करें तभी पार्टी सफल मानी जाएगी।


हर मेहमान हो आपका खास मेहमान
 अपनी  परम्परा के अनुसार सारे मेहमानों का स्वागत खुले दिल से करें। सारे मेहमानों का आपको वैसा ही ख्याल रखना चाहिए जैसे वह आपका खास मेहमान हो
। 
पार्टी की रौनक है आपका प्रसन्न रहना
 पार्टी को सफल बनाने के लिए खुश रहना भी जरूरी है। हँसकर सरे मेहमानों को खुश रखा जा सकता है। मेजबान को पार्टी में मेलजोल का वातावरण भी बनाना चाहिए। अलग-अलग गु्रप बनने से पार्टी में लय नहीं बनती। 


सजावट व व्यवस्था रूचिकर हो
 खाना अगर टेबल पर लगा हो तो टेबल की दूरी ऐसी हो जो मेहमानों को सुविधा दे। पास-पास टेबल लगाने से भीड़ ज्यादा हो जाती है। ऐसे में प्लेट्स टकरा भी सकती हैं। खाना ढुल भी सकता है। पार्टी के मुताबिक ही सजावट होनी चाहिए। हाँ, शादी जैसे बड़ी पार्टियों की बात अलग है। खासकर बच्चों की पार्टी में व्यवस्था का ध्यान रखना पड़ता है। ढेर सारे गुब्बारे, रिबन, गेम्स, टाॅफियाँ आदि ऐसी कई बातें ध्यान में रखकर आयोजन करने से बच्चों को मजा आता है। कम बजट में भी आप इसे कर सकते हैं।


आकर्षक दिखें 
 आपका लिबास पार्टी के अनुकूल होना चाहिए। जरूरी नहीं है कि आप मँहगी एवं लकदम चीजों का ही इस्तेमाल करें। दिन में पार्टी, चाहे वह शादी की हो, मेकअप हल्का ही रखें। रात की पार्टी में हेवी मेकअप चल सकता है। तेज कलर भी रात में ज्यादा अच्छे लगते हैं। यदि ठंड हो और शाॅल ओढ़ रखी हो तो मेचिंग करना ठीक रहेगा। कलर का काॅम्बीनेशन ऐसा रखें जो फूहड़ न दिखे। अपनी स्वाभाविकता बनी रहने दें। ज्यादा आधुनिकता के चक्कर में हँसी के पात्र बनने से बचें। 


हल्का-फुल्का संगीत रखें
 हंगामे वाली पार्टी को छोड़ दें तो भी संगीत पार्टी में खास माने रखता है। हल्का-फुल्का म्युजिकल डांस के लिए भी जमता है और पार्टी में रूमानियत बनी रहती है।


बच्चों के लिए कुछ खास गेम हों
 कोई ऐसा व्यक्ति जो कई सारे बच्चों को कमांड कर सके, ऐसे व्यक्ति को स्पेशल इन्वीटेशन दें। ऐसे व्यक्ति के साथ सारे बच्चे गेम खेलते रहेंगे। आपकी पार्टी भी अच्छी चलेगी। बड़ों की पार्टी में बच्चों को अपनी यह दुनिया जरूर पसन्द आएगी।


जगह के हिसाब से पार्टी रखें
 पार्टी जगह के अनुसार ही मनाएँ। जरूरत से ज्यादा मेहमान हों तो सारा मजा ही चला जाएगा। 


छोटी-छोटी बातों पर विवाद न करें 
 पर्टी छोटी हो या बड़ी, बच्चे भी रहते ही हैं। यदि क्राकरी की टूट-फूट हो जाए तो नाराज होकर पार्टी का मजा खराब नहीं करें। माहौल को खुशनुमा बनाने के लिए व्यर्थ के विवाद न करें।


खाने पर कमेंट न करें 
 यदि खाना आपकी पसन्द का न हो, तो भी मन रखने के लिए ही सही, थोड़ा सा खा लें। खाने पर कोई टिप्पणी न करें। मेजबान की भावना का ख्याल रखें।


बातें जरूर करें पर ताने न मारें 
 पार्टी में बातचीत का तो खास महत्व रहता है। कई आयोजन तो सिर्फ किसी खास मुद्दे पर बात करने के लिए ही होते हैं। 'ये साड़ी तो आप पहले भी पहन चुकी हैं।' 'आपने इतने पुराने फैशन की ज्वेलरी पहन रखी है।' 'आप इसमें कुछ ज्यादा ही मोटी नजर आ रही हैं।' ऐसे कटु वाक्य न बोलें।


उठने-बैठने का अंदाज खास हो
 आपके उठने-बैठने के अंदाज से आपकी पहचान होती है। पार्टी में इस अदब का खास ख्याल रखें। कैसे भी कुर्सी खींची, कैसे भी बैठ गए। चाहे जैसे किसी के भी कंधे पर हाथ रखकर खड़े हो गए, जैसे चैराहे पर यारी-दोस्ती में खड़े हों। ऐसा व्यवहार आपको शर्मिन्दगी ही देगा।


प्लेट में खाना सलीके से रखें
 एक प्लेट हाथ में, वह भी पूरी भरी हुई। एक ही प्लेट में सारी चीजें एक साथ रख ली जाएँ तो कैसा लगेगा ? ऐसा हरगिज न करें। तय कर लें कि आपको पहले क्या लेना है, उसी हिसाब से लें। फिर खाना शुरू करें। ध्यान रखें , इससे भी आपका व्यक्तित्व परिलक्षत होता है।


खाना खाएँ या लिक्विड लें, पर आवाज न करें 
 खाना खाते वक्त मुँह में खाना हो तो बात न करें। एक बार में ही मुँह में ढेर सारा खाना न ठूँस लें। लिक्विड पीते वक्त मुँह धीरे से बंद करें। पीने की आवाज न निकालें। 


टूथपिक्स का इस्तेमाल न करें 
 भरी पार्टी में आप मुँह में फँसे भोजन को टूथपिक्स से न निकालें। यह बिल्कुल व्यावहारिक नहीं है। ज्यादा जरूरी हो तो बाथरूम में मुँह साफ करें।


पेपर नेपकीन के भी कुछ उसूल हैं
 खाना खाया, हाथ साफ किए, पेपर नैपकीन से हाथ पोंछे, उसकी बाॅल बनाई और कहीं भी फेंक दी। यह तो कोई तरीका नहीं हुआ पार्टी का 'द एंड' करने का। उसे भी बाकायदा झूठी प्लेट की बाॅस्केट में ही डालें। इस प्रकार कुछ नियम बनाइए, उन्हें अपने ऊपर लागू कीजिए और देखिए, पार्टी में सभी निगाहें रहेंगी आप पर।



 रेणु जैन
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